दुर्गा कवच का पाठ कैसे करें | दुर्गा कवच का पाठ करने के नियम और लाभ

दुर्गा कवच का पाठ कैसे करें / दुर्गा कवच का पाठ करने के नियम और लाभ

दुर्गा कवच एक शक्तिशाली मंत्र है जो देवी दुर्गा की रक्षा प्रदान करता है। यह कवच हमें सभी प्रकार की बुरी शक्तियों से बचाता है, जिसमें भूत, प्रेत, पिशाच, डाकिनी, शाकिनी, और अन्य नकारात्मक शक्तियां शामिल हैं। दुर्गा कवच का पाठ नियमित रूप से करने से हमें आध्यात्मिक उन्नति भी मिलती है।

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दुर्गा कवच का पाठ कैसे करें / दुर्गा कवच का पाठ करने की विधि

दुर्गा कवच का पाठ करने के लिए निम्नलिखित विधि का पालन करें:

  1. एक साफ स्थान पर एक चौकी या आसन बिछाएं।

  2. चौकी पर एक कलश रखें और उसमें जल भरें।

  3. कलश के ऊपर एक नारियल रखें।

  4. नारियल पर एक लाल कपड़ा लपेटें।

  5. चौकी पर फूल, धूप, दीप, अक्षत और अन्य पूजन सामग्री रखें।

  6. हाथ में जल लेकर दुर्गा कवच के पहले श्लोक का जाप करें।

  7. कलश को जल अर्पित करें।

  8. फूल, धूप, दीप और अक्षत अर्पित करें।

  9. दुर्गा कवच का पाठ करें।

  10. अंत में, देवी दुर्गा से प्रार्थना करें।

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दुर्गा कवच का पाठ करने के नियम

दुर्गा कवच का पाठ करते समय निम्नलिखित नियमों का पालन करें:

  • पाठ करने से पहले स्नान करके साफ कपड़े पहनें।

  • पाठ करने के दौरान मन को शांत और केंद्रित रखें।

  • पाठ करते समय किसी भी प्रकार की अश्लील या नकारात्मक बातचीत से बचें।

  • पाठ करने से पहले किसी भी प्रकार का मांस, मछली या अंडा न खाएं।

दुर्गा कवच के लाभ

दुर्गा कवच का पाठ करने से निम्नलिखित लाभ होते हैं:

  • हमें सभी प्रकार की बुरी शक्तियों से बचाता है।

  • हमें आध्यात्मिक उन्नति प्रदान करता है।

  • हमें शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य प्रदान करता है।

  • हमें धन, समृद्धि और सफलता प्रदान करता है।

दुर्गा कवच का पाठ कितने दिन में सिद्ध होता है, यह व्यक्ति की श्रद्धा और लगन पर निर्भर करता है। कुछ लोगों को यह पाठ कुछ दिनों में ही सिद्ध हो जाता है, जबकि कुछ लोगों को इसके लिए कई वर्षों तक अभ्यास करना पड़ता है।

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दुर्गा कवच का पाठ नियमित रूप से करने से यह जल्दी सिद्ध होता है। पाठ करते समय मन को शांत और केंद्रित रखना भी आवश्यक है। यदि मन में कोई नकारात्मक विचार या भावना है, तो कवच सिद्ध नहीं होगा।

दुर्गा कवच के सिद्ध होने के कुछ संकेत हैं, जैसे कि:

  • पाठ करते समय मन में शांति और आनंद का अनुभव होना।

  • देवी दुर्गा की कृपा का अनुभव होना।

  • बुरी शक्तियों से रक्षा होना।

  • आध्यात्मिक उन्नति होना।

यदि आप दुर्गा कवच का पाठ कर रहे हैं, तो आपको इन संकेतों के लिए सतर्क रहना चाहिए।

कुछ लोगों का मानना ​​है कि दुर्गा कवच को सिद्ध करने के लिए किसी योग्य गुरु से दीक्षा लेना आवश्यक है। हालांकि, यह जरूरी नहीं है। यदि आप नियमित रूप से और श्रद्धापूर्वक दुर्गा कवच का पाठ करते हैं, तो यह आपके लिए सिद्ध हो जाएगा।

यहां कुछ सुझाव दिए गए हैं जो आपको दुर्गा कवच को जल्दी सिद्ध करने में मदद कर सकते हैं:

  • पाठ करने से पहले स्नान करके साफ कपड़े पहनें।

  • पाठ करते समय मन को शांत और केंद्रित रखें।

  • पाठ करते समय किसी भी प्रकार की अश्लील या नकारात्मक बातचीत से बचें।

  • पाठ करने से पहले किसी भी प्रकार का मांस, मछली या अंडा न खाएं।

  • दुर्गा कवच के प्रत्येक श्लोक का अर्थ समझने का प्रयास करें।

  • दुर्गा कवच का पाठ नियमित रूप से करें।

यदि आप इन सुझावों का पालन करते हैं, तो आपको दुर्गा कवच को जल्दी सिद्ध करने में मदद मिलेगी।

दुर्गा कवच का पाठ करने के लिए कुछ सुझाव

  • दुर्गा कवच का पाठ नियमित रूप से करें।

  • पाठ करते समय मन को शांत और केंद्रित रखें।

  • पाठ करने के दौरान किसी भी प्रकार की अश्लील या नकारात्मक बातचीत से बचें।

  • पाठ करने से पहले किसी भी प्रकार का मांस, मछली या अंडा न खाएं।

यदि आप दुर्गा कवच का पाठ करने में सक्षम नहीं हैं, तो आप किसी योग्य विद्वान से इसकी दीक्षा प्राप्त कर सकते हैं।

लेखक की जानकारी

नमस्ते, मैं शैलेश नागर हूं, TadkaKhabar.in का सीनियर एडिटर हु
मेरे पास बैचलर ऑफ कॉमर्स (बी.कॉम) की डिग्री है, और मैं वित्त, लेखांकन और व्यवसाय प्रबंधन में एक मजबूत आधार से सुसज्जित हूं। मुझे लिखना पसंद है। लिखना मेरा पसंदीदा शौक है। और में विभिन्न वस्तुओं की समझ रखता हूं तथा उस बारे में लिखता हूं। शब्दों की सहमी हुई दुनिया को व्यक्त करने का ये एक महासागर है। कलम मेरी साथी हैं, जो हर पल मेरे विचार और भावनाओं को सजाने में मदद करती है। लिखना मेरे लिए एक आनंदमय सफर है, जिसमें मैं अपने ख्यालों को नए रूप में पेश करता हूं।

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